यमुना की हालत पर ग्रीन वॉरियर्स ने जताया शोक। (Wikimedia Commons) 
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यमुना की दुखद स्थिति से दुखी हैं ग्रीन वॉरियर्स

NewsGram Desk

By – बृज खंडेलवाल

आगरा में 27 सितम्बर को नदी प्रेमियों और ग्रीन वॉरियर्स ने एतमाउद्दौला व्यू-पॉइंट पार्क में विश्व नदी दिवस मनाया।

इस दौरान यमुना नदी के एक हिस्से की सफाई की और भारत की प्रमुख नदियों के प्रबंधन के लिए एक केंद्रीय नदी प्राधिकरण के गठन की मांग करते हुए रैली निकाली।

प्रख्यात पर्यावरणविद और रिवर कनेक्ट अभियान के सदस्य देवाशीष भट्टाचार्य ने कहा, "विश्व नदी दिवस जैसा खास दिन नदियों से जुड़े मूल्यों को याद करता है और दुनिया भर की नदियों के प्रबंधन के लिए पारंपरिक प्रयासों को प्रोत्साहित करता है। कोविड -19 महामारी के कारण इस वार्षिक आयोजन में सार्वजनिक तौर पर लोगों को हिस्सा नहीं लेने दिया, लेकिन छोटे समूह इन गतिविधियों में शामिल हुए। इस मौके पर वेब-सेमिनारों के माध्यम से भारत में अधिकांश नदियों की दयनीय दुर्दशा को उजागर किया गया।"

ताज महल की अपनी यमुना संकट में। (Wikimedia Commons)

यमुना मार्च के बाद वैदिक सूत्रम के चेयरमेन प्रमोद गौतम ने कहा, "अधिकांश नदियों को जलवायु परिवर्तन, औद्योगिक प्रदूषण, शहरीकरण और जनसंख्या विस्फोट से जुड़े दबावों का सामना करना पड़ रहा है। आजादी के सात दशक बाद भी भारत के पास नदियों के लिए एक स्पष्ट रोड मैप नहीं है।"

विश्व नदी दिवस की संस्थापक मार्क एंजेलो ने नदी कार्यकर्ताओं के लिए अपने संदेश में कहा, "कोविड-19 के खिलाफ लड़ाई में स्वच्छ जल का बहुत महत्व है। इसीलिए दुनिया भर के लाखों-करोड़ों लोगों के सामने यह अवसर है कि वे साथ आकर इन स्वस्थ जीवंत जलमार्गों के महत्व को लोगों को समझाएं। नदियां सभी के जीवन का अभिन्न अंग हैं।"

आगरा में दैनिक यमुना आरती के महंत पंडित जुगल किशोर श्रोत्रिय ने एक बार फिर दिल्ली-आगरा के बीच नौका सेवा शुरू करने केंद्रीय परिवहन मंत्री नितिन गडकरी के वादे की याद दिलाई।

ब्रज मंडल हेरिटेज कंजर्वेशन सोसाइटी के उपाध्यक्ष श्रवण कुमार सिंह ने कहा कि ताजमहल के पीछे यमुना के ऊपर एक आड़ बनाने की तत्काल आवश्यकता है ताकि इस शानदार मुगल स्मारक को वायु और जल प्रदूषण से नुकसान न हो।

आगरा होटल एंड रेस्टोरेंट एसोसिएशन के संस्थापक अध्यक्ष सुरेंद्र शर्मा ने कहा कि योगी सरकार को ग्रेटर नोएडा में फिल्म सिटी प्रोजेक्ट को प्राथमिकता देने की अपेक्षा उप्र की नदियों को बचाने पर ज्यादा ध्यान देना चाहिए।

कार्यकर्ता राहुल राज ने कहा, "जिला प्रशासन ने आगरा को ओडीएफ (खुले में शौच से मुक्त) घोषित था, लेकिन सुबह नदी किनारे इसकी वास्तविकता देखी जा सकती है।" (आईएएनएस)

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