पेट्रोलियम मंत्री हरदीप पुरी (Hardeep Puri) ने कहा है कि रूस (Russia) से तेल खरीदने को लेकर भारत का कोई नैतिक टकराव नहीं है, फिर भी यूक्रेन के साथ युद्ध के कारण अंतर्राष्ट्रीय स्तर पर आलोचना का सामना करना पड़ा है।
अबू धाबी में सीएनएन (CNN) के साथ एक साक्षात्कार में पुरी ने इस सवाल का जवाब देते हुए कि क्या भारत (India) ने रूस से तेल की आपूर्ति की मांग करते समय कोई नैतिक संघर्ष महसूस किया, जवाब दिया : "बिल्कुल नहीं।"
उन्होंने कहा, "बिल्कुल नहीं। कोई नैतिक संघर्ष नहीं है। हम एक्स या वाई से नहीं खरीदते हैं। हम जो कुछ भी उपलब्ध है, उसे खरीदते हैं। मैं खरीदारी नहीं करता। सरकार ऐसा नहीं करती है, तेल कंपनियां करती हैं।"
उन्होंने कहा, "हमें कोई दबाव महसूस नहीं होता। मोदी (Modi) सरकार दबाव महसूस नहीं करती। हम दुनिया की पांचवीं सबसे बड़ी अर्थव्यवस्था (Economy) हैं। भारत अपने सर्वोच्च राष्ट्रीय हित के अनुसार जवाब देगा।"
हालांकि भारत ने रूस-यूक्रेन (Ukraine) संघर्ष पर अंतर्राष्ट्रीय मंचों पर कोई पक्ष नहीं लिया है, प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने सितंबर में उज्बेकिस्तान में एससीओ शिखर सम्मेलन के दौरान रूसी राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन (Vladimir Putin) से कहा था कि यह युद्ध का समय नहीं है, बल्कि इस समय दुनिया में भोजन और उर्वरक की उपलब्धता सुनिश्चित करना चिंता का प्रमुख विषय है।
आईएएनएस/RS