यून ने 10 जुलाई को अपनी दूसरी गिरफ्तारी के बाद से सोल सेंट्रल डिस्ट्रिक्ट कोर्ट में स्वास्थ्य कारणों का हवाला देते हुए अपने मुकदमे में पेश होने से इनकार कर दिया है।
पीठ ने गुरुवार की सुनवाई की शुरुआत यह कहते हुए की है कि यून लगातार छठी बार अनुपस्थित (absent) रहे। पीठ ने बताया कि यून जिस हिरासत केंद्र में बंद हैं, उस केंद्र ने एक नोट भेजा था, जिसमें यून को जबरन कोर्ट में पेश करने में आने वाली कठिनाइयों का उल्लेख किया गया।
दंड प्रक्रिया संहिता के तहत, यदि कोई प्रतिवादी ( defendant) बिना किसी वैध कारण के कोर्ट में उपस्थित होने से इनकार करता है, तो उसकी अनुपस्थिति में भी मुकदमा चलाया जा सकता है। यह प्रावधान तब लागू होता है जब किसी जेल अधिकारी के लिए प्रतिवादी को जबरन कोर्ट में पेश करना असंभव या अत्यधिक कठिन हो।
पूर्व राष्ट्रपति पर दिसंबर में एक विद्रोह का नेतृत्व करने और मार्शल लॉ लागू करके अपनी शक्ति का दुरुपयोग करने के आरोप में मुकदमा चल रहा है।
योनहाप समाचार एजेंसी के अनुसार, विद्रोह के लिए अधिकतम आजीवन कारावास या मृत्युदंड की सजा हो सकती है।
गुरुवार की सुनवाई के दौरान, अदालत मार्शल लॉ योजना (court martial law scheme) में शामिल दो सैन्य अधिकारियों की गवाही सुनने वाली है।
इससे पहले 27 अगस्त को, दक्षिण कोरिया की एक अदालत ने पूर्व राष्ट्रपति यून सूक योल द्वारा मार्शल लॉ (martial law) लागू करने में कथित भूमिका के लिए पूर्व प्रधानमंत्री हान डक-सू को गिरफ्तार करने के लिए वारंट जारी करने या न करने पर सुनवाई की थी।
सोल सेंट्रल डिस्ट्रिक्ट कोर्ट (Seoul Central District Court) ने दोपहर 1:30 बजे पूर्व राष्ट्रपति यून सूक योल के खिलाफ विद्रोह (इन्सरेक्शन) मामले की सुनवाई शुरू की। विशेष अभियोजक चो यून-सूक की टीम ने यून पर विद्रोह को उकसाने, सरकारी दस्तावेजों को गलत तरीके से पेश करने और नष्ट करने, झूठी गवाही देने, और अन्य अपराधों के आरोपों में वारंट जारी करने का अनुरोध किया।
हान सुनवाई से कुछ समय पहले ही अदालत पहुंचे थे लेकिन पत्रकारों के सवालों का जवाब नहीं दिया।
अगर अदालत वारंट जारी करती है, तो यह फैसला उसी दिन बाद में भी आ सकता है, और हान दिसंबर में मार्शल लॉ के प्रयास के सिलसिले में गिरफ्तार होने वाले यून प्रशासन के तीसरे कैबिनेट सदस्य बन जाएंगे।
[IANS/SS]