नातरा प्रथा के तहत हुई अनोखी शादी (IANS) 
ज़रा हट के

नातरा प्रथा के तहत हुई अनोखी शादी, एक दूल्हे ने दो दुल्हनों के साथ लिए फेरे

जब वह नाबालिग थे तो उनकी आर्थिक स्थिति ज्यादा अच्छी नहीं थी और वह सामाजिक रीति रिवाज के अनुसार शादी नहीं कर सके थे।

न्यूज़ग्राम डेस्क, Poornima Tyagi

न्यूज़ग्राम हिंदी: बांसवाड़ा (Banswara) जिले के आदिवासी बहुल इलाके में एक अनोखा विवाह हुआ है। यह बात है आनंदपुरी ब्लॉक (Anandpuri) की ग्राम पंचायत मुंदरी (Mundri) के गांव उपलापाड़ा की जहां पर एक विवाह ऐसा हुआ जिसमें दूल्हा एक और दुल्हन दो थी। दूल्हे कमलाशंकर (Kamlashankar) के जीजा हितेश पारगी और तोलाराम पारगी द्वारा बताया गया कि जब कमलाशंकर सन 2002 में 13 वर्ष का था तो उन्होंने मडकोला मकन (Madkola Makan) गांव की रहने वाली नानी देवी (Nani Devi) से नातरा (Natra) कर लिया था।

इसके बाद जब वह 2014 में बालिग हुए तो उन्होंने ओबला (Obla) की रहने वाली टीना (Tina) से भी नातरा कर लिया। जब वह नाबालिग थे तो उनकी आर्थिक स्थिति ज्यादा अच्छी नहीं थी और वह सामाजिक रीति रिवाज के अनुसार शादी नहीं कर सके थे। अब जब उनकी आर्थिक स्थिति सुधर गई है तो उन्होंने पूरे रीति रिवाजों के साथ विवाह किया। आज नानी देवी से उनकी एक 8 वर्षीय पुत्री और टीना से 6 वर्ष का पुत्र हैं। दोनों बच्चे शादी समारोह में मौजूद थे। इतना ही नहीं शादी के कार्ड पर भी दोनों के नाम छपवाएं गए थे।

एक दूल्हे ने दो दुल्हनों के साथ लिए फेरे (IANS)

उन्होंने सामाजिक रीति-रिवाजों के साथ दोनों पत्नियों के साथ सात फेरे लिए और इस अनोखी शादी को देखने के लिए सैकड़ों ग्रामीण इक्कठे हुए।

दरअसल नातरा प्रथा एक ऐसी प्रथा है जिसमें लड़का लड़की बिना मां-बाप की इजाजत के शादी कर लेते हैं। इसमें कई बार पैसों का लेनदेन भी होता है। कानूनी सलाहकार मंत्री एडवोकेट विनोद डामोर (संप सभा/Samp Sabha) ने बताया कि इस प्रथा को समाप्त करने के लिए समय समय पर बैठक की होती हैं। और शैक्षिक जागरूकता (Educational awareness) के आने से नातरा प्रथा का चलन धीरे–धीरे कम हो रहा है।

PT

भगवान जगन्नाथ का रथ खींचती हैं जो रस्सियाँ, उनके पीछे छिपा है एक आदिवासी समाज!

मोहम्मद शमी को कोर्ट से बड़ा झटका : पत्नी-बेटी को हर महीने देने होंगे 4 लाख रुपये !

जिसे घरों में काम करना पड़ा, आज उसकी कला को दुनिया सलाम करती है – कहानी दुलारी देवी की

सफलता की दौड़ या साइलेंट स्ट्रगल? कोरिया में डिप्रेशन की असली वजह

जहां धरती के नीचे है खजाना, वहां ऊपर क्यों है गरीबी का राज? झारखंड की अनकही कहानी