महिलाओं के खिलाफ सभी प्रकार के भेदभाव के उन्मूलन पर कन्वेंशन (CEDAW) महिलाओं के खिलाफ भेदभाव को खत्म करने और लैंगिक समानता के लिए प्रयास करने के लिए संयुक्त राष्ट्र (United Nations) द्वारा तैयार एक महत्वपूर्ण अंतर्राष्ट्रीय मानवाधिकार (Human Rights) दस्तावेज है। इस कन्वेंशन में राजनीति, कानून, कार्य, शिक्षा, चिकित्सा सेवाओं, व्यापारिक गतिविधियों और पारिवारिक संबंधों में महिलाओं के अधिकारों की गारंटी देने के लिये संबंधित नियम स्थापित किये गये हैं।
18 दिसंबर 1979 को संयुक्त राष्ट्र ने इसे पारित किया। और वर्ष 1980 में चीन ने इस कन्वेंशन पर हस्ताक्षर किये और इसकी पुष्टि की, जो कन्वेंशन के पहले हस्ताक्षरकतार्ओं में से एक है। इससे जाहिर हुआ है कि चीन महिलाओं के अधिकारों की गारंटी पर बड़ा ध्यान देता है। इसके बाद चीन ने इस कन्वेंशन के आधार पर अपने देश में संबंधित नीति-नियमों को लागू करना शुरू किया। इस दौरान उल्लेखनीय प्रगति हासिल करने के साथ कुछ समस्याएं व चुनौतियां भी मौजूद हैं। चीन लगातार उचित तरीके से उन मामलों का समाधान करने के लिये प्रयास कर रहा है, ताकि चीन में महिला सुरक्षा प्रणाली दिन-ब-दिन बेहतर हो सके, और महिलाओं के मानवाधिकार कार्यों के विकास को बढ़ावा दिया जा सके।
हाल के कई वर्षों में चीन निरंतर रूप से 'महिलाओं के खिलाफ भेदभाव (Discrimination Against Women)' को कानून प्रवर्तन और न्यायिक प्रक्रिया में मानक निश्चित करने की बड़ी कोशिश करता है। महिलाओं के अधिकारों की सुरक्षा विषय का विस्तार करने और महिलाओं के अधिकारों के उल्लंघन के लिए अधिक स्पष्ट और विशिष्ट दंड मानकों को निर्धारित करने के लिए कानून के माध्यम से महिलाओं की सुरक्षा के लिए एक कानूनी तंत्र की स्थापना की जा रही है। इसके साथ ही चीन के पूरे समाज में महिलाओं के मानवाधिकारों के प्रति जागरूकता बढ़ाने के लिए सोशल मीडिया के माध्यम से प्रचार भी किया जा रहा है। खास तौर पर चीन ग्रामीण क्षेत्रों में वित्तीय निवेश बढ़ाकर अर्थव्यवस्था का विकास करता है, ताकि बेहतर आर्थिक बुनियाद के साथ अपने स्वयं के अधिकारों के लिये महिलाओं की मांगों को बढ़ावा दिया जा सके, और ग्रामीण क्षेत्रों में महिलाओं के मानवाधिकारों की अवधारणा का परिचय दिया जा सके।
आईएएनएस/PT