न्यूज़ग्राम हिंदी: सुप्रीम कोर्ट ने शुक्रवार को फिल्मकार लीना मणिमेकलाई को हिंदू देवी काली को सिगरेट पीते हुए दिखाने वाले विवादित पोस्टर मामले में राहत दी। कोर्ट ने मणिमेकलाई को गिरफ्तारी से अंतरिम संरक्षण प्रदान किया है। प्रधान न्यायाधीश डी. वाई. चंद्रचूड़ और न्यायमूर्ति पी.एस. नरसिम्हा ने कहा कि याचिकाकर्ता के खिलाफ दर्ज की गई किसी भी एफआईआर के आधार पर, या उसी मामले के संबंध में कोई भी कठोर कार्रवाई नहीं की जाएगी।
शीर्ष अदालत ने फिल्म निर्माता की याचिका पर भी नोटिस जारी किया, जिसका प्रतिनिधित्व अधिवक्ता कामिनी जायसवाल ने किया।
याचिकाकर्ता ने काली नामक विवादित पोस्टर पर फिल्म निर्माता के खिलाफ विभिन्न राज्यों में दर्ज सभी एफआईआर(FIR) को रद्द करने का निर्देश देने की मांग की थी।
पोस्टर के खिलाफ शिकायतों पर दिल्ली, उत्तर प्रदेश, मध्य प्रदेश और उत्तराखंड में एफआईआर दर्ज की गई है।
याचिकाकर्ता ने सोशल मीडिया पर उसे धमकी देने वालों के खिलाफ भी कार्रवाई की मांग की है।
दलील में कहा गया है कि याचिकाकर्ता ने किसी भी व्यक्ति की धार्मिक भावनाओं को ठेस पहुंचाने का प्रयास नहीं किया।
आपको बता दें कि पछले साल जुलाई के महीने में फिल्म निर्माता मणिमेकलई ने अपने डाक्यूमेंट्री फिल्म 'काली' का पोस्टर रिलीज़ किया था जिसपर काफ़ी बवाल मचा। पोस्टर में मां काली सिगरेट पीते हुए दिखाई दे रही थी जिसे देखकर लोगों ने सोशल मीडिया पर जम कर हंगामा किया।
ट्विटर पर कई यूज़र्स ने इसकी जमकर आलोचना की और फिल्ममेकर्स के गिरफ्तारी की भी मांग की थी। इसी सिलसिले में देश के कई राज्यों में फिल्म निर्माता के खिलाफ केस दर्ज किया गया था। लीना पर धार्मिक भावनाओं को आहात करने और संगीन आपराधिक धाराओं के तहत मुक़दमा दर्ज किया गया। इसके साथ ही उन्हें सोशल मीडिया पर भी खूब ट्रोल किया गया था।
--आईएएनएस/VS