यूपी के हाईवे एक्सप्रेस वे की तरह चौड़े और सुंदर होंगे  IANS
उत्तर प्रदेश

यूपी के हाईवे एक्सप्रेस वे की तरह चौड़े और सुंदर होंगे

यूपी की सड़कों को बेहतर बनाने के लिए सरकार तेजी से कदम बढ़ा रही है।

न्यूज़ग्राम डेस्क

न्यूज़ग्राम हिंदी: यूपी की सड़कों को बेहतर बनाने के लिए सरकार तेजी से कदम बढ़ा रही है। यात्रा को सुगम, सुरक्षित बनाने और अवधि को कम करने के प्रयास के तहत प्रदेश में तीन राज्यमार्गों के चौड़ीकरण के काम ने जोर पकड़ लिया है। वहीं, प्रदेश के कई क्षेत्रों में चिह्न्ति ब्लैक स्पॉट्स के निराकरण के साथ ही आगरा में 3 व बरेली में 6 सेतुओं के निर्माण से संबंधित कार्यों को पूर्ण करने के लिए धनराशि आवंटन को स्वीकृत किया गया है।

राज्य सड़क निधि से प्रयागराज मंडल के 35 मार्गों पर कार्यों को सुचारू रखने के लिए धनराशि आवंटन की प्रक्रिया शुरू हो गई है।

साल 2018 से 2022 के बीच आगरा मंडल क्षेत्र में स्वीकृत हुए कुल 3 सेतुओं के लिए कुल 4.54 करोड़ की धनराशि स्वीकृत की गई है। इसके तहत मथुरा में पीलीभीत से भरतपुर मार्ग पर (कृष्णपुरी चौराहे के निकट) बन रहे सेतु, फिरोजाबाद में आया नदी पर लघु पुल और मैनपुरी के मददापुर से मिर्जापुर मार्ग पर लघु सेतु व पहुंच मार्ग में सुरक्षात्मक कार्यों के लिए मौजूदा स्वीकृत राशि का उपयोग किया जाएगा। वहीं, बरेली में 6 विभिन्न सेतुओं के निर्माण के लिए 9 करोड़ दो लाख रुपए व बस्ती में निमार्णाधीन नए पुल के लिए 1.10 करोड़ रुपए के धनराशि आवंटन को हरी झंडी मिल गई है।


दुर्घटना बाहुल्य क्षेत्रों में चिह्न्ति ब्लैक स्पॉट के निराकरण और सड़क सौंदर्यीकरण को लेकर भी कार्रवाई को अंजाम देने की प्रक्रिया निरंतर जारी है। इस क्रम में, अमरोहा जिले के हसनपुर स्थित मार्गों पर चिह्न्ति ब्लैक स्पॉट और हरदोई के बिलग्राम साणडी-अललगंज मार्ग पर भी चिह्न्ति ब्लैक स्पॉट के निराकरण के लिए 1.74 करोड़ रुपए की धनराशि स्वीकृत की गई है। साथ ही, संबंधित रोड स्ट्रेच में पड़ने वाले चौराहों के सु²ढ़ीकरण को लेकर भी इसी राशि का उपयोग किया जाएगा। प्रदेश के अन्य हिस्सों में भी इसी प्रकार ब्लैक स्पॉट्स के निराकरण की प्रक्रिया जारी है।



--आईएएनएस/VS

कंट्रोवर्सी, अकेलापन और ठुकराहट के बाद, जब इस एक्ट्रेस ने लिखी ख़ुद की कहानी

बोनालु : आस्था, परंपरा और नारी शक्ति का भव्य उत्सव

कपड़े पर चित्र और होंठों पर गीत, ऐसी है ओडिशा और बंगाल की पट्टचित्र

बूढ़ों का देश बनता जा रहा है जापान, क्या बचा पाएगा अपना भविष्य?

कश्मीर की गलियों से लेकर प्रधानमंत्री के कंधों तक, कैसे बना कानी शॉल एक ग्लोबल ब्रांड?