प्रमुख इराकी शिया धर्मगुरु मुकतदा अल-सईद मुहम्मद अल-सदर ने ईरान और अमेरिका को अपने संघर्षो में बगदाद को शामिल करने के खिलाफ चेतावनी दी है। समाचार एजेंसी सिन्हुआ ने शुक्रवार को ट्विटर पर पोस्ट अल-सदर के एक बयान के हवाले से कहा, "अमेरिका-ईरान संघर्ष का इराक शिकार हो गया है और यह बहुत प्रभावित हुआ है जैसे कि यह उनके संघर्षो का अखाड़ा हो।" उन्होंने कहा, "इसलिए, मैं ईरान से अपने संघर्ष से इराक को दूर रखने के लिए कहता हूं और मैं (अमेरिका) को भी चेतावनी देता हूं।" उन्होंने कहा, "इराक और इराकी नागरिक दोनों के बीच संघर्ष का हिस्सा नहीं हैं।"
अमेरिका का झंडा । ( Wikimedia Commons )
बगदाद-वाशिंगटन संबंध में इस साल 3 जनवरी से थोड़ा तनाव है, क्योंकि एक अमेरिकी ड्रोन ने बगदाद हवाईअड्डे पर एक काफिले पर हमला किया, जिसमें ईरान की इस्लामिक रिवोल्यूशन गार्डस कोर के कुद्स फोर्स के कमांडर कासिम सुलेमानी और इराक के अर्धसैनिक बल के हशद शाबी के उपप्रमुख अबू महदी अल-मुहांदिस मारे गए थे।
ड्रोन हमले के दो दिन बाद, इराकी संसद ने एक प्रस्ताव पारित किया, जिसमें सरकार को देश में विदेशी ताकतों की मौजूदगी खत्म करने की जरूरत है। प्रस्ताव के बाद, अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने, शुरू में इनकार करने के बाद, मार्च से सैनिकों को हटाना शुरू कर दिया। सितंबर में, अमेरिकी सेना ने घोषणा की थी कि वह इराक में अपने सैनिकों की संख्या 5,200 से घटाकर 3,000 कर देगा। (आईएएनएस)