रहस्यों से भरा है केदारेश्‍वर गुफा मंदिर, केवल एक स्तंभ पर है खड़ा

इस मंदिर में श‍िवल‍िंग के आसपास बेहद ठंडा पानी रहता है। इस ठंडे पानी में डुबकी लगाना आध्‍यात्‍म‍िक रूप से बहुत महत्‍वपूर्ण है। मान्‍यता है कि यहां डुबकी लगाने से सारे पाप धुल जाते हैं। पहाड़‍ियों के बीच बने इस मंदिर तक पहुंचने के ल‍िए आपको ट्रैक‍िंग करनी होती है
Mysterious Kedareshwar Cave : महाराष्‍ट्र में एक ऐसा मंदिर ज‍िसके रहस्‍य ने विज्ञान के सारे न‍ियम ह‍िला कर रख द‍िए हैं। (Wikimedia Commons)
Mysterious Kedareshwar Cave : महाराष्‍ट्र में एक ऐसा मंदिर ज‍िसके रहस्‍य ने विज्ञान के सारे न‍ियम ह‍िला कर रख द‍िए हैं। (Wikimedia Commons)

Mysterious Kedareshwar Cave : भारत में कई जगहें हैं जो गुप्त रहस्यों को अपने अंदर छुपाए हुए हैं। वे अभी भी मानव मस्तिष्क की समझ से बहुत परे हैं, और आज भी लोग उन्हें समझ नहीं सकते हैं। ऐसा ही एक मंदिर है महाराष्‍ट्र में, ज‍िसके रहस्‍य ने विज्ञान के सारे न‍ियम ह‍िला कर रख द‍िए हैं। इस मंदिर की गुफा का रहस्‍य 11वीं शताब्‍दी से वैसा के वैसा ही बना हुआ है। दरअसल, हम बात कर रहे हैं महाराष्‍ट्र के अहमदनगर में स्‍थति केदारेश्‍वर गुफा मंदिर की, यह सुंदरता, इतिहास और रहस्य का एक स्थान है जो लोगों को सालों से अपनी तरफ आकर्ष‍ित करता आ रहा है।

किसने बनवाया ये मंदिर

केदारेश्‍वर मंदिर अहमदनगर ज‍िले में हरिश्‍चंद्र पहाड़ी क‍िले पर स्‍थ‍ित है। कहा जाता है कि इस मंदिर को 6वीं शताब्‍दी में कलचुरी राजवंश द्वारा बनवाया गया था लेकिन किले की गुफाएं 11वीं शताब्दी में मिलीं। इस गुफा की श‍िवल‍िंग प्राकृतिक रूप से न‍िर्मित है। ये मंदिर क‍िले के अंदर 4,671 फीट की ऊंचाई पर बना हुआ है।

मान्‍यताएं हैं कि ये स्तंभ बदलते युगों के अनुसार अपनी ऊंचाई बदलते रहते हैं। (Wikimedia Commons)
मान्‍यताएं हैं कि ये स्तंभ बदलते युगों के अनुसार अपनी ऊंचाई बदलते रहते हैं। (Wikimedia Commons)

प्रत्येक स्तंभ दर्शाता है चार युगों को

मंदिर के पास तीन गुफाएं हैं, दाहिनी गुफा में बर्फ के ठंडे पानी के बीच में 5 फुट का शिवलिंग विराजमान है। ऐसा माना जाता है कि मंदिर के ये स्‍तंभ चार युगों को दर्शाता है। पहला सत्य युग, दूसरा त्रेता युग, तीसरा द्वापर युग और चौथा कलियुग। गुफा इन स्तंभों में से केवल एक पर खड़ी है क्योंकि उनमें से तीन गिर चुके हैं। ऐसा माना जाता है कि अगर आखिरी खंभा टूट गया तो दुनिया खत्म हो जाएगी। इसके अलावा ऐसी भी मान्‍यताएं हैं कि ये स्तंभ बदलते युगों के अनुसार अपनी ऊंचाई बदलते रहते हैं।

सबसे अजीब बात यह है कि सर्दियों में यहां गुनगुना पानी रहता है और गर्मियों के दौरान, इस मंदिर में श‍िवल‍िंग के आसपास बेहद ठंडा पानी रहता है। इस ठंडे पानी में डुबकी लगाना आध्‍यात्‍म‍िक रूप से बहुत महत्‍वपूर्ण है। मान्‍यता है कि यहां डुबकी लगाने से सारे पाप धुल जाते हैं। पहाड़‍ियों के बीच बने इस मंदिर तक पहुंचने के ल‍िए आपको ट्रैक‍िंग करनी होती है।

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