न्यूज़ग्राम हिंदी: भारत (India) में बहुत सी नदियां और उनकी कई सहायक नदियां हैं। भारत में नदियों को बहुत ही पवित्र माना जाता है और इन्हें पूजा जाता है। इनमें भी अगर गंगा नदी (Ganga River) की बात की जाए तो इस नदी को अत्यधिक पवित्र माना जाता है। इस नदी के बारे में ऐसा कहा जाता है कि इस नदी में स्नान करने से व्यक्ति को उसके द्वारा किए गए सभी पापों से मुक्ति मिल जाती है। इसके जल का उपयोग धार्मिक कार्यों में किया जाता है।
गंगा के पवित्र जल को लोग अपने घर में वर्षों तक संजोकर रखते हैं। लेकिन क्या आप जानते हैं कि गंगा के जल में कभी कीड़े नहीं पड़ते हैं। वैज्ञानिकों की माने तो गंगा नदी का उद्गम (Origin of Ganga River) हिमालय (Himalaya) पर्वत से हुआ है और पर्वत पर बहुत सी जीवनदायिनी जड़ी–बूटियां पाई जाती हैं। इन जड़ी-बूटी में बहुत से गुण मौजूद होते हैं। जैसे ही गंगा का जल इन जड़ी-बूटियों से संपर्क में आता है तो इसमें मौजूद गुण गंगाजल में विलीन हो जाते हैं यही कारण है कि गंगा के जल में कभी कीड़े नहीं पड़ते हैं।
इसके अलावा गंगा के जल में एक ऐसा वायरस भी पाया जाता है जो गंगाजल में मौजूद सभी अशुद्धियों को समाप्त कर देता है और गंगा के जल से कभी बदबू भी नहीं आती।
गंगा भारत की सबसे लंबी नदी होने के साथ ही दुनिया की तीसरी सबसे लंबी नदी भी है। जब भी किसी शुभ कार्य की शुरुआत होती है तो सबसे पहले गंगा का जल छिड़क कर ही उस कार्य का शुभारंभ किया जाता है।
लोग गंगाजल का इस्तेमाल पीने में भी करते है क्योंकि ऐसा कहा जाता है कि गंगाजल कई बीमारियों को जड़ से खत्म कर देता हैं।
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