![बाहर से शांत और गंभीर दिखने वाला यह नेता, असल में एक क्रूर शासक है [Sora Ai]](http://media.assettype.com/newsgram-hindi%2F2025-08-08%2Fq3k38irx%2Fassetstask01k255grn0erzsn2jz777ahqxj1754667831img0.webp?w=480&auto=format%2Ccompress&fit=max)
उत्तर कोरिया (North Korea), जिसे आधिकारिक रूप से "डेमोक्रेटिक पीपल्स रिपब्लिक ऑफ कोरिया" ("Democratic People's Republic of Korea") कहा जाता है, एक ऐसा देश है जो बाहर से देखने पर बेहद अनुशासित, आधुनिक और आत्मनिर्भर नज़र आता है। इसकी राजधानी प्योंगयांग की चमचमाती इमारतें, सड़कों पर कोई ट्रैफिक नहीं, और हर चीज़ एकदम व्यवस्थित ये सब देखकर लगता है कि यह काफी खूबसूरत और शांत देश हैं, यहां की तकनीक, सैन्य ताकत और परमाणु शक्ति में भी उत्तर कोरिया (North Korea) ने खुद को दुनिया के सामने मज़बूत दिखाया है, लेकिन इस चमकदार दिखने वाले देश की एक काली सच्चाई भी है, उसका तानाशाह शासक किम जोंग उन (Kim Jong Un) ।
बाहर से शांत और गंभीर दिखने वाला यह नेता, असल में एक क्रूर शासक है, जो अपने देश के लोगों को आज़ादी से जीने का हक तक नहीं देता। उत्तर कोरिया (North Korea) में न इंटरनेट की आज़ादी है, न मीडिया की, और न ही आम लोगों को सरकार के खिलाफ बोलने की ही इजाज़त है। यहां का हर नागरिक डर के साए में जीता है। आज हम उसी भ्रम और सच्चाई के बीच की खाई को उजागर करने की कोशिश करेंगे, कि कैसे एक सुंदर दिखने वाला देश असल में तानाशाही का सबसे कठोर उदाहरण बन चुका है।
किम जोंग उन: एक रहस्यमयी तानाशाह की कहानी
किम जोंग उन उत्तर कोरिया (North Korea) के सर्वोच्च नेता हैं, जो 2011 में अपने पिता किम जोंग इल की मौत के बाद सत्ता में आए। किम परिवार की यह तीसरी पीढ़ी है जो उत्तर कोरिया (North Korea) पर राज कर रही है। किम जोंग उन (Kim Jong Un) का जन्म 1983 या 1984 के आसपास माना जाता है, जन्म को लेकर कोई सटीक तारीख़ नहीं है क्योंकि उत्तर कोरिया ने कभी उनके जन्म की सही तारीख की पुष्टि नहीं की है। उन्होंने अपनी पढ़ाई स्विट्ज़रलैंड के एक स्कूल में की, जहां वो झूठी पहचान के साथ पढ़ते थे। किम जोंग उन (Kim Jong Un' Dictatorship) के सत्ता में आने के बाद दुनिया को उम्मीद थी कि शायद अब उत्तर कोरिया थोड़ा खुलकर सांस ले पाएगा, लेकिन हुआ इसके ठीक विपरीत। उन्होंने सत्ता मजबूत करने के लिए कई कड़े कदम उठाए लेकिन उत्तर कोरिया के लोग आज़ाद होने के बजाय और बंधक बनते गए। माना जाता है कि उन्होंने अपने ही चाचा जैंग सोंग थैक को देशद्रोह के आरोप में मरवा दिया और अपने सौतेले भाई किम जोंग नाम की मलेशिया में हत्या करवा दी।
किम जोंग उन की छवि एक रहस्यमयी और निर्दयी शासक की है, जो अपनी सत्ता को चुनौती देने वालों को बेरहमी से खत्म कर देता है। वे खुद को "सर्वशक्तिमान नेता" ("The Almighty Leader") के रूप में पेश करते हैं और देश में खुद की पूजा करवाते हैं। उनकी तानाशाही ने उत्तर कोरिया को एक खुली जेल में तब्दील कर दिया है।
एक वीडियो के लिए किम जोंग उन ने दी थी इतनी बड़ी सज़ा
किम जोंग उन की सत्ता में कला, अभिव्यक्ति और मनोरंजन पर भी सख्त पहरा है। एक चौंकाने वाली घटना 2013 में सामने आई, जब उत्तर कोरिया की मशहूर संगीत मंडली Unhasu Orchestra की कुछ महिला सदस्यों को अश्लील वीडियो बनाने के आरोप में मौत की सजा दी गई। इनमें किम जोंग उन की कथित पूर्व प्रेमिका ह्योन सोंग वोल का नाम भी शामिल था। सरकारी मीडिया ने दावा किया कि इन कलाकारों ने अश्लील वीडियो बनाए और उसे देश में फैलाया।
हालांकि इसकी कोई स्वतंत्र पुष्टि नहीं हुई, पर दक्षिण कोरिया की ख़ुफ़िया एजेंसियों और मीडिया ने रिपोर्ट किया कि उन्हें सार्वजनिक रूप से मशीनगनों से गोली मार दी गई और उनके परिवारों को श्रम शिविरों में भेज दिया गया। इस घटना से साफ हुआ कि उत्तर कोरिया में व्यक्तिगत जीवन, कला, और स्वतंत्रता का कोई अस्तित्व नहीं है। तानाशाही के इस दौर में, हर चीज़ पर एक व्यक्ति का नियंत्रण है, और अगर कोई भी उस नियम से ज़रा भी भटके, तो उसकी सजा मौत होती है। यह सिर्फ शासन नहीं, एक मनोवैज्ञानिक दहशत है।
सिर्फ़ किम जोंग की तरह ही रख सकतें है हेयरस्टाइल
उत्तर कोरिया में लोगों की ज़िंदगी पर इतना कड़ा नियंत्रण है कि यहां तक कि उनके हेयरस्टाइल पर भी सरकार का आदेश चलता है। रिपोर्ट्स के अनुसार, किम जोंग उन ने 2014 में देशभर में एक फरमान जारी किया, जिसमें लोगों को सिर्फ सरकार द्वारा तय किए गए 28 हेयरस्टाइल्स में से ही चुनने की इजाज़त दी गई। पुरुषों के लिए सीमित बाल कटवाने के ऑप्शन थे, और सबसे मज़ेदार (या डरावना!) ये था कि छात्रों को किम जोंग उन जैसा हेयरकट रखने का आदेश दिया गया। यानि, एक डिक्टेटर कैसा दिखेगा, यह भी जनता को फॉलो करना पड़ेगा। ये नियम सिर्फ दिखने की बात नहीं है, अगर कोई इससे अलग हेयरस्टाइल रखता है, तो उसे हिरासत में लिया जा सकता है, या सजा मिल सकती है। कई लोगों को सार्वजनिक रूप से शर्मिंदा भी किया गया।
जब एक अखबार की गलती के कारण एडिटर को मारी गई गोली
उत्तर कोरिया में मीडिया पूरी तरह सरकार के नियंत्रण में है। लेकिन एक बार जब एक सरकारी अखबार के एडिटर ने गलती से किम जोंग उन के नाम के साथ गलत शीर्षक छाप दिया, तो नतीजा जानलेवा साबित हुआ। यह मामला 2016 के आसपास सामने आया जब एक स्थानीय अखबार में छपा कि "किम जोंग उन ने आदेश दिया...", जबकि वहां लिखा होना था, "महान नेता किम जोंग उन ने..."। सिर्फ ‘महान नेता’ शब्द का छूटना, उस एडिटर की ज़िंदगी पर भारी पड़ गया। रिपोर्ट्स के मुताबिक, उस एडिटर को देशद्रोह के आरोप में गिरफ्तार किया गया और जल्द ही फायरिंग स्क्वाड द्वारा मार दिया गया। इस खबर की स्वतंत्र पुष्टि नहीं हुई, लेकिन उत्तर कोरिया की पृष्ठभूमि और पहले के मामलों को देखते हुए, यह घटना पूरी तरह संभव लगती है।
किम जोंग उन के अजीबो-ग़रीब शौक़
उत्तर कोरिया के तानाशाह किम जोंग उन सिर्फ अपनी तानाशाही के लिए ही नहीं, बल्कि अपने अजीबो-ग़रीब और बेहद महंगे शौक़ों के लिए भी दुनिया भर में चर्चा में रहते हैं। जब देश की जनता भूख से मर रही होती है, तब किम जोंग उन अरबों रुपये अपनी लग्ज़री चीज़ों पर खर्च करता है। रिपोर्ट्स के अनुसार, किम को स्विस चीज़ (cheese) बहुत पसंद है, जिसके लिए वो हर साल स्विट्ज़रलैंड से टनों चीज़ मंगवाता है। इसके अलावा उन्हें महंगी वाइन, खासकर Hennessy कॉन्यैक, बेहद पसंद है, जिसकी एक बोतल लाखों रुपये की होती है।
किम जोंग उन को बास्केटबॉल का जबरदस्त शौक़ है। उन्हें NBA के खिलाड़ी डेनिस रोडमैन इतने पसंद हैं कि उन्हें कई बार उत्तर कोरिया बुलाया गया। वह दुनिया की सबसे महंगी गाड़ियों, जैसे Rolls Royce और Mercedes-Benz के काफिलों के शौकीन हैं। उनका एक और विचित्र शौक़ है, दुनिया की सबसे महंगी घड़ियों और पालतू कुत्तों का कलेक्शन। यह सब ऐसे देश में हो रहा है जहां आम आदमी को चावल और बिजली तक मयस्सर नहीं है। यह तानाशाही की क्रूरता और विलासिता का जीवंत उदाहरण है।
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किम जोंग उन का उत्तर कोरिया एक ऐसा देश है, जहां हर चमक के पीछे डर, अत्याचार और दमन की एक गहरी परत छिपी हुई है। एक तरफ राजधानी प्योंगयांग की साफ़-सुथरी सड़कों और अनुशासित समाज की झलक दुनिया को दिखाई जाती है, वहीं दूसरी तरफ आम नागरिकों की ज़िंदगी सरकार के शिकंजे में जकड़ी हुई है। किम जोंग उन की तानाशाही सिर्फ राजनीति तक सीमित नहीं है, बल्कि आम इंसान की सोच, पहनावे, बालों की स्टाइल, और यहां तक कि उनके मनोरंजन पर भी नियंत्रण है। जिन चीज़ों को दुनिया में सामान्य आज़ादी माना जाता है, उत्तर कोरिया में वे "अपराध" बन चुकी हैं। और इसी तानाशाही के बीच किम जोंग उन खुद ऐशो-आराम, महंगी घड़ियों, शराब और विदेशी चीज़ों में डूबे रहते हैं। यह सब दर्शाता है कि उत्तर कोरिया का नेतृत्व जनता की भलाई के लिए नहीं, बल्कि अपनी सत्ता और विलासिता बनाए रखने के लिए काम कर रहा है, एक ऐसा देश जहां शासक राजा है और जनता कैदी। [Rh/SP]