न्यूज़ग्राम हिंदी: भारतीय प्रौद्योगिकी संस्थान (IIT) कानपुर के साइबर प्रौद्योगिकी नवाचार केंद्र सी3आईहब ने एनएमआईसीपीए मिशन के तहत विज्ञान एवं प्रौद्योगिकी विभाग (डीएसटी) और इसके द्वारा इनक्यूबेटेड स्टार्टअप थ्रेट गार्जियन प्राइवेट लिमिटेड तथा वर्कर यूनियन सपोर्ट के समर्थन से साइबर सुरक्षा कौशल कार्यक्रम की शुरुआत की है। कार्यक्रम का उद्देश्य शिक्षार्थियों को साइबरस्पेस और साइबर मुद्दों की बुनियादी तकनीकी बातों की गहरी समझ प्रदान करना, रीयल-टाइम साइबर सुरक्षा तकनीकों और विधियों को पेश करना तथा सुरक्षा लागू करने के लिए मॉडल, उपकरण और तकनीकों पर ध्यान केंद्रित करना है।
राष्ट्रीय अनुसूचित जाति आयोग के अध्यक्ष विजय सांपला ने लॉन्च समारोह में साइबर सुरक्षा के क्षेत्र में योगदान और साइबर सुरक्षा क्षेत्र में छात्रों को प्रशिक्षित और सशक्त बनाने के प्रयासों के लिए सी3आईहब की सराहना की।
उन्होंने भारत के राष्ट्रीय अनुसूचित जाति आयोग के तहत विभिन्न कार्यक्रमों के बारे में भी बात की। उन्होंने कहा, इन दिनों, साइबर अपराध सबसे बड़ी समस्या है जिसका हम सामना कर रहे हैं और सी3आईहब सुरक्षित साइबर दुनिया सुनिश्चित करने के लिए अपनी भूमिका निभा रहा है।
सी3आईहब के परियोजना निदेशक, प्रो. मनिंद्र अग्रवाल ने कहा, कार्यक्रम छात्रों को साइबर सुरक्षा के बुनियादी से उन्नत स्तर तक सीखने में मदद करेगा, जो उन्हें भविष्य के लिए तैयार करेगा।
यह प्रोग्राम सी3आईहब इनक्यूबेटेड स्टार्ट-अप्स, थ्रेट गार्जियंस प्राइवेट लिमिटेड और डब्ल्यूयूएस के सहयोग से शुरू किया गया है।
कार्यक्रम सभी छात्रों/पेशेवरों के लिए खुला है, जिसमें अनुसूचित जाति/अनुसूचित जनजाति के छात्रों के लिए नि:शुल्क नामांकन और अन्य छात्रों के लिए मामूली शुल्क है।
साइबर सुरक्षा कौशल कार्यक्रम ऑनलाइन आयोजित किया जाएगा, जिससे यह देश में कहीं से भी शिक्षार्थियों के लिए सुलभ हो जाएगा।
कार्यक्रम की अवधि आठ सप्ताह (प्रति सप्ताह छह घंटे) की है और इसमें लाइव सत्र, ऑनलाइन असाइनमेंट और प्रैक्टिकल शामिल होंगे।
कार्यक्रम के पूरा होने पर, शिक्षार्थियों को सी3आईहब से एक प्रमाणपत्र प्राप्त होगा। टॉप 100 छात्रों को इंटर्नशिप करने का भी मौका मिलेगा।
--आईएएनएस/VS