न्यूज़ग्राम हिंदी: बिहार(Bihar) के पूर्व सांसद और बाहुबली नेता आनंद मोहन(Anand Mohan) गुरुवार की सुबह जेल से रिहा हो गए। गोपालगंज के जिलाधिकारी जी कृष्णया की हत्या के मामले में उन्हें आजीवन कारावास की सजा मिली थी। सहरसा जेल प्रशासन ने इसकी पुष्टि करते हुए कहा कि गुरुवार की सुबह करीब छह बजे उन्हें जेल से रिहा कर दिया गया।
कहा जा रहा है कि आनंद मोहन की रिहाई बुधवार को ही हो जाती लेकिन प्रक्रिया में देरी की वजह से बुधवार को रिहाई नहीं हो सकी।
नीतीश सरकार ने हाल ही में जेल नियमों में बदलाव करते हुए आनंद मोहन सहित 27 लोगों की रिहाई का आदेश जारी किया था। इसके बाद हालांकि इसे लेकर राजनीति भी तेज है।
इधर, राज्य सरकार की ओर से बिहार जेल नियमावली में किए गए संशोधन को निरस्त करने को लेकर पटना उच्च न्यायालय में एक अर्जी दी गई है।
यह अर्जी सामाजिक कार्यकर्ता अमर ज्योति की ओर से अधिवक्ता अलका वर्मा ने दायर की है। अर्जी में कहा गया है कि ऐसे संशोधन से व्यवस्था पर प्रतिकूल असर पड़ेगा।
आनंद मोहन के रिहा होने के बाद अब उनके सक्रिय राजनीति में आने की चर्चा है।
गौरतलब है कि 1994 में बिहार के गोपालगंज के जि़लाधिकारी की हत्या सड़क पर कर दी गई थी। हत्या के मामले में आनंद मोहन पर भीड़ को भड़काने का आरोप लगा था।
इस मामले में आनंद मोहन को निचली अदालत ने फांसी की सजा सुनाई थी, जिसे ऊपरी अदालत ने उम्र कैद में बदल दिया था।
--आईएएनएस/VS