हिस्ट्रीशीटर हसीना बानो ने किया झारखंड पुलिस की नाक में दम, 11वीं बार गई जेल

महिला के घर में पति, दो बेटी और एक बेटा भी है।
हिस्ट्रीशीटर हसीना बानो ने किया झारखंड पुलिस की नाक में दम, 11वीं बार गई जेल
हिस्ट्रीशीटर हसीना बानो ने किया झारखंड पुलिस की नाक में दम, 11वीं बार गई जेलIANS
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57 साल की हिस्ट्रीशीटर (History-sheeter) हसीना बानो झारखंड के कई जिलों की पुलिस के लिए परेशानी का सबब बनी हुई है। पलक झपकते पर्स और जेवरात उड़ाने में उस्ताद इस महिला को रांची की पुलिस ने सोमवार को 11वीं बार गिरफ्तार कर जेल भेजा। झारखंड (Jharkhand) के बोकारो जिला अंतर्गत पेटरवार कस्बे में आलीशान दोमंजिले मकान की मालकिन और भरे-पूरे घर-परिवार की इस महिला की आदतों से उसके घरवाले तक परेशान हैं। वह तकरीबन हर साल एक-दो बार जेल यात्रा करती है, लेकिन वह शातिराना हरकतों से बाज नहीं आती। इस बार उसे रांची के डेली मार्केट थाना क्षेत्र के खटिया बाजार में एक महिला के पर्स से रुपये उड़ाते हुए लोगों ने रंगे हाथ पकड़ा और पुलिस को सौंप दिया। पिछले पंद्रह वर्षों में उसने रांची, धनबाद, बोकारो, गिरिडीह सहित कई शहरों में दर्जनों लोगों को निशाना बनाया है। सामान्य तौर पर वह ऑटो और बस में सफर करने वाली या भीड़-भाड़ वाले बाजार में महिलाओं को अपना टारगेट बनाती है। उसके बोकारो जिला अंतर्गत पेटरवार स्थित मकान में पुलिस ने कम से कम आधा दर्जन बार छापमारी कर चोरी के जेवरात, नगदी और कई कीमती सामान बरामद किये हैं।

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हसीना बानो रांची में पहली बार 2010 में डोरंडा इलाके में पकड़ी गई थी। तब जेल भेजी गई थी। पुलिस के अफसर बताते हैं कि वह महिलाओं से बातचीत कर घुलमिल जाती है और इसके बाद मौका पाते ही सामान गायब कर देती है। उसके खिलाफ रांची के डोरंडा, लालपुर, लोअर बाजार, कोतवाली और सदर थाना क्षेत्र में चोरी के तकरीबन एक दर्जन मामले दर्ज हैं। बोकारो और धनबाद में भी उसने चोरी की कई घटनाओं को अंजाम दिया है और कई बार जेल गई है। पहले की घटनाओं की तफ्तीश के दौरान पुलिस ने पाया है कि वह चोरी का माल बोकारो में खपाती है।

हसीना बानो कई बार पुलिस की पकड़ में आने के बाद भी चकमा देकर भाग चुकी है। 20 जुलाई 2013 को रांची की कोर्ट में पेशी के दौरान पुलिस को चकमा देकर फरार हो गई थी। पकड़े जाने पर बीमारी का बहाना बना कर वह बच जाती है।

महिला के घर में पति और दो बेटी और एक बेटा भी है। सभी महिला की इस हरकत का विरोध करते हैं। 09 सितंबर 2011 को रांची के लालपुर से रंगे हाथ पकड़ी गई थी और जेल गई थी। उस वक्त मोरहाबादी की शांति देवी ने प्राथमिकी दर्ज कराई थी। इसी तरह 19 जुलाई 2013 को लालपुर चौक के समीप धनबाद के बैंक मोड़ की निशा अग्रवाल नामक महिला का पर्स मारते हसीना बानो को पकड़ा गया था। पिछले साल अक्टूबर में भी उसे रंगे हाथों गिरफ्तार किया गया था।

(आईएएनएस/HS)

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