पंजाब में सिख आतंकवादी संगठनों के हमले का खतरा: खुफिया एजेंसी

खुफिया एजेंसियों ने पंजाब में सिख आतंकवादी संगठनों के हमले का खतरा बताया। [Pixabay]
खुफिया एजेंसियों ने पंजाब में सिख आतंकवादी संगठनों के हमले का खतरा बताया। [Pixabay]

पंजाब में विधानसभा चुनाव (Assembly Elections in Punjab 2022) से पहले खुफिया एजेंसियों ने राज्य प्रशासन को हाई अलर्ट पर रहने की सलाह दी है। एजेंसियों ने राज्य प्रशासन को चेताया है कि सिख फॉर जस्टिस (SFJ), बब्बर खालसा जैसे सिख आतंकवादी संगठन (Terrorist Organization) राज्य के अन्य शहरों में आतंकी गतिविधियों को अंजाम दे सकते हैं। सूत्र के मुताबिक, इन आतंकवादी संगठनों को पाकिस्तान की इंटर-सर्विसेज इंटेलिजेंस (ISI) द्वारा सक्रिय रूप से समर्थन मिल रहा है। ISI उन्हें चुनावी राज्य में शांति भंग करने के लिए उकसाने का काम कर रहा है।

एजेंसियों ने राज्य प्रशासन को राज्य भर में कड़ी निगरानी रखने के साथ साथ सीमा सुरक्षा बल (BSF) को ड्रोन पर विशेष ध्यान देने को भी कहा है। इसके साथ ही पंजाब में पाकिस्तान के साथ पश्चिमी सीमा पर घुसपैठ के प्रयासों की जांच करने की सलाह दी गयी है।

वहीं 23 दिसंबर को लुधियाना में हाल ही में हुए विस्फोट का मुख्य साजिशकर्ता खालिस्तानी आतंकवादी (Khalistani Terrorist) जसविंदर सिंह मुल्तान जर्मनी की आतंकवाद विरोधी एजेंसियों द्वारा गिरफ्तार कर लिया गया है।

खुफिया एजेंसियों के अनुसार, SFJ और बब्बर खालसा के कई सक्रिय सदस्यों को ISI ने विधानसभा चुनावों में पंजाब को आतंकवादी हमलों (Terrorist Attacks) से अस्थिर करने का काम सौंपा गया है।

बता दें कि जांच एजेंसियों की पड़ताल में यह भी सामने आया है लुधियाना विस्फोट (Ludhiana Court Blast) की घटना में ISI शामिल था और विस्फोट में मारे गए गगनदीप सिंह के साथ संपर्क में था। जांच एजेंसियों ने जब इस पूरी घटना की जांच की तो उन्हें पता चला कि इसमें जर्मनी में रह रहे SFJ सदस्य – हरविंदर सिंह और जसविंदर सिंह मुल्तान की भूमिका थी। ये दोनों SFJ के अध्यक्ष अवतार सिंह पन्नू और SFJ के पदाधिकारी हरमीत सिंह के संपर्क में थे।

अधिकारियों ने बताया कि भारतीय जांच एजेंसियों ने इस मामले में जुटाए गए सबूतों को बर्लिन में आतंकवाद रोधी एजेंसियों को साझा किया और उसके बाद मुल्तान को गिरफ्तार कर लिया गया।

बताना चाहेंगे कि मुल्तान जर्मनी में आतंकवादी गतिविधियों में शामिल था। यहां उसने SFJ के अलगाववादी अभियान में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई थी। इस दौरान वह अपने पाकिस्तान स्थित गुर्गों (सह-तस्करों) की मदद से पाकिस्तान से हथियारों, विस्फोटकों, हथगोले और गोला-बारूद की खेप की व्यवस्था करता था। (आईएएनएस)

Input: IANS ; Edited By: Manisha Singh

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