एक समय होता था जब किसी विशेष परिवार के नाम पर ही शैक्षणिक जगत से लेकर स्वास्थ्य जगत की चीजों के नाम होते थे लेकिन अब ऐसा नहीं हो रहा है दरअसल उत्तर प्रदेश में खोले गए नए मेडिकल कॉलेजों का नाम साधु-संतों और शहीदों के नाम पर रखा जा रहा है। राज्य सरकार ने मेडिकल कॉलेज में तब्दील किए जा रहे चार जिला अस्पतालों के नामकरण का आदेश जारी किया है। ये जिला अस्पताल बिजनौर, फतेहपुर, चंदौली और सिद्धार्थ नगर में हैं।बिजनौर, फतेहपुर, चंदौली और सिद्धार्थ नगर में हैं।
बिजनौर मेडिकल कॉलेज का नाम महाभारत काल के दार्शनिक और पांडवों और कौरवों के चाचा महात्मा विदुर के नाम पर रखा गया है।चंदौली मेडिकल कॉलेज का नाम बाबा कीनाराम के नाम पर रखा गया है, जिसे अघोरी संप्रदाय का संस्थापक कहा जाता है। इसके अलावा देवरिया के मेडिकल कॉलेज का नाम महर्षि देवराहा बाबा और गाजीपुर के मेडिकल कॉलेज का नाम महर्षि विश्वामित्र के नाम पर रखे जाने की उम्मीद है। आपको बता दें अभी केवल बिजनौर, फतेहपुर, चंदौली और सिद्धार्थ नगर के मेडिकल कॉलेजों के नाम की घोषणा हुई है।
तो वही सिद्धार्थ नगर जिला अस्पताल को, भाजपा नेता माधव प्रसाद त्रिपाठी के नाम पर "माधव प्रसाद त्रिपाठी मेडिकल कॉलेज" नाम दिया गया है। माधव प्रसाद त्रिपाठी उर्फ माधव बाबू के उत्तर प्रदेश भाजपा के पहले अध्यक्ष थे। वह दो बार जनसंघ के विधायक और यूपी विधान परिषद के सदस्य होने के अलावा, 1977 में डोमरियागंज से सांसद भी रहे हैं।
इसके अलावा फतेहपुर मेडिकल कॉलेज का नाम ,1857 के स्वतंत्रता सेनानी अमर शहीद जोधा सिंह अटैया और ठाकुर दरियाव सिंह के नाम पर रखा गया है। ऐसा कहा जाता है कि जोधा सिंह अटैया अंग्रेजों के खिलाफ युद्ध में गुरिल्ला वार करने वाले लोगों में से एक थे, जिन्होंने स्वतंत्रता सेनानी तात्या टोपे से सीखा था।
यह भी माना जा रहा है कि, मिजार्पुर के मेडिकल कॉलेज का नाम मां विंध्यवासिनी, प्रतापगढ़ के मेडिकल कॉलेज का नाम डॉ सोनेलाल पटेल और एटा के मेडिकल कॉलेज का नाम वीरांगना अवंतीबाई लोधी के नाम पर रखा जा सकता है।
Input: आईएएनएस; Edited By: Lakshya Gupta