द आईआईसी एक्सपीरियंस: ए फेस्टिवल ऑफ द आर्ट्स IANS
कला

कब और कहां होता है द आईआईसी एक्सपीरियंस: ए फेस्टिवल ऑफ द आर्ट्स?

18 अक्टूबर को, भारतीय वाद्य वादकों, म्यूजिक ग्रुप बबूशकी के साथ पोलैंड-यूक्रेनी वेंचर यूक्रेन 'मुलाकात' की एक प्रस्तुति देखी जाएगी।

न्यूज़ग्राम डेस्क

इंडिया इंटरनेशनल सेंटर का वार्षिक उत्सव 'द आईआईसी एक्सपीरियंस: ए फेस्टिवल ऑफ द आर्ट्स (The IIC Experience: A Festival of the Arts) ' 14 अक्टूबर से शुरू हुआ और इसका समापन 20 अक्टूबर को होगा।

18 अक्टूबर को, भारतीय वाद्य वादकों, म्यूजिक ग्रुप बबूशकी के साथ पोलैंड-यूक्रेनी वेंचर यूक्रेन 'मुलाकात' की एक प्रस्तुति देखी जाएगी। शाम को 'थ्री जेनरेशन ऑन द वायलिन' टाइटल से एक अनूठा कर्नाटक पहनावा पेश किया जाएगा।

तीन जनरेशन द्वारा प्रस्तुत एक हिंदुस्तानी वायलिन कॉन्सर्ट एन. राजम अपनी बेटी संगीता शंकर और पोतियों नंदिनी शंकर और रागिनी शंकर द्वारा आयोजित किया जाएगा।

20 अक्टूबर को शाम के दौरान होने वाले अंतिम प्रदर्शन में एक अंतरराष्ट्रीय कॉन्सर्ट 'नित्या अमोरे' होगा, जो नृत्य के जरिए भारत और इटली के बीच सहयोग को दर्शाएगा।

घर के अंदर और बाहर विभिन्न प्रकार की प्रदर्शनियों में 'खुदा बख्श ओरिएंटल पब्लिक लाइब्रेरी के खजाने' शामिल हैं। ग्रंथों की एक प्रदर्शनी, अभिलेखीय तस्वीरों की प्रतिकृतियां, दुर्लभ पुस्तकों की प्रतिकृतियां, प्रकाशित और सचित्र पांडुलिपियों की डिजीटल प्रतियां, जिनमें 'तारीख-ए-खानदान-ए-तैमूरिया', 'द रामायण', 'सीरत-ए-फिरोजशाही' और ' महाराजा रणजीत सिंह के हसब-ए-फौजी', और खुदा बख्श ओरिएंटल पब्लिक लाइब्रेरी संग्रह से अन्य डिजिटल प्रतिकृतियां आयोजित की जाएंगी।

आंध्र प्रदेश की पारंपरिक वेशभूषा का चित्र

ओपन-एयर स्पेस, गांधी-किंग मेमोरियल प्लाजा 'हथकरघा और हस्तशिल्प' प्रदर्शनी आयोजित करेगा, जिसमें मास्टर बुनकरों और शिल्पकारों द्वारा प्रदर्शनों सहित वस्त्र और शिल्प की एक प्रदर्शनी होगी। तीसरी प्रदर्शनी का फोकस लोक कला के उत्सव पर होगा। पाटनगढ़ और मंडला, मध्य प्रदेश के गोंड समुदाय के कलाकारों द्वारा समकालीन कला की एक प्रदर्शनी भी शामिल होगी।

समवर्ती रूप से 'आईआईसी एक्सपीरियंस' में एक विषयगत फिल्म महोत्सव होग, जिसमें 21 पथ-प्रदर्शक फिल्में 'न्यू वेव - सिनेमा फिल्म महोत्सव के विद्रोही कवियों' की स्क्रीनिंग होगी। यह आईआईसी के लिए विशेष रूप से , पुरस्कार विजेता फिल्म निर्माता, पुरालेखपाल और फिल्म हेरिटेज फाउंडेशन के निदेशक शिवेंद्र सिंह डूंगरपुर द्वारा क्यूरेट किया गया है।

इस उत्सव में लोग बिना टिकट के प्रवेश कर सकते हैं।

आईएएनएस/PT

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