विश्व (World) में अलग-अलग देशों के बीच भाईचारे और एकता के संदेश को बढ़ाने के लिए प्रतिवर्ष अंतर्राष्ट्रीय मानव एकता दिवस (International Human Solidarity Day) मनाया जाता है। इस दिन का उद्देश्य यह रहता है कि अलग-अलग संस्कृति और पहचान वाले देशों के बीच परस्पर संबंध स्थापित किए जा सकें। आज के इस लेख में हम आपको यह बताएंगे कि अंतरराष्ट्रीय मानव एकता दिवस क्या है? यह क्यों मनाया जाता है? और इसका महत्व क्या है?
विश्व में विभिन्न भाषाओं संस्कृति और नस्ल वाले लोग रहते हैं और ऐसा अक्सर देखा गया है कि इन्हें एकता की कमी और हित के टकराव के कारण विश्व में कई बार हिंसा, आतंकवाद, युद्ध और अन्य समस्याएं होती रहती हैं इतना ही नहीं इसकी हानि पूरी मानव जाति उठाती है। इसीलिए हमें जरूरत है कि नागरिकों के बीच आपस में सहयोग और एकता बनी रहे मात्र यही एक जरिया है जिससे इन घटनाओं को रोका जा सकता है।
विभिन्न देशों के बीच विकास को बढ़ावा देने के लिए आवश्यकता है कि सभी नागरिक भाईचारे और आपसी सहयोग और सौहार्द्र के भाव से रहे इसीलिए एकता दिवस मनाया जाता है।
विश्व में आपसी सहयोग एवं सौहार्द्र बना रहे इसी भावना को ध्यान में रखते हुए संयुक्त राष्ट्र महासभा ने सर्वप्रथम अंतरराष्ट्रीय मानव एकता दिवस का विचार रखा था। उनका लक्ष्य यह ही था कि विभिन्न देशों के बीच अंतरराष्ट्रीय संबंध मजबूत हो जिससे कि देशों के बीच में आपसी सहयोग की भावना को बढ़ावा मिलेगा। प्रथम बार 22 दिसंबर 2005 को संकल्प 60/209 के माध्यम से मानव एकता के मूल्य को पहचाना गया और इसके बाद फैसला लिया गया कि प्रतिवर्ष 20 दिसंबर को अंतरराष्ट्रीय मानव एकता दिवस मनाया जायेगा।
• सतत विकास प्रोत्साहित हो
• अंतरराष्ट्रीय संबंधों में मजबूती आएं
• नागरिकों के बीच में एकता और भाईचारा बढ़े
• विश्व एक बेहतर स्थान बने
• विश्व में शांति और सौहार्द्र बढ़े
• आपसी सहयोग से समावेशी विकास हो
• विविधता के माध्यम से एकता का प्रदर्शन किया जा सके
(PT)